श्रीमद् वाल्मीकि रामायण  »  काण्ड 1: बाल काण्ड  »  सर्ग 20: राजा दशरथ का विश्वामित्र को अपना पुत्र देने से इनकार करना और विश्वामित्र का कुपित होना  »  श्लोक 2
 
 
श्लोक  1.20.2 
 
 
ऊनषोडशवर्षो मे रामो राजीवलोचन:।
न युद्धयोग्यतामस्य पश्यामि सह राक्षसै:॥ २॥
 
 
अनुवाद
 
  महर्षे! राजीवलोचन राम अभी सोलह वर्ष के भी नहीं हैं। मैं उनमें राक्षसों से युद्ध करने की योग्यता नहीं देखता।। २॥
 
 
 
  Connect Form
  हरे कृष्ण हरे कृष्ण कृष्ण कृष्ण हरे हरे। हरे राम हरे राम राम राम हरे हरे॥
  © copyright 2024 vedamrit. All Rights Reserved.